Thursday 6 June 2013



परखना मत, परखने में कोई अपना नहीं रहता
किसी भी आईने में देर तक चेहरा नहीं रहता

बड़े लोगों से मिलने में में हमेशा फासला रखना
जहां दरिया समंदर में मिला, दरिया नहीं रहता

तुम्हारा शहर तो बिलकुल नए अंदाज़ वाला है
हमारे शहर में भी अब कोई हमसा नहीं रहता

मोहब्बत एक खुशबू है, हमेशा साथ रहती है
कोई इंसान तन्हाई में भी तन्हा नहीं रहता ..!!

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